Biology Class 12th Vvi Subjective Question
1. गुणसूत्र विकार से आप क्या समझते हैं? ऐसे तीन विकारों के नाम बताएं।
उतर. मानव शरीर से पाए जाने वाले तेज जोड़े क्रोमोसोम की संख्या या संरचना में किसी प्रकार के परिवर्तन से या विकार उत्पन्न होता है। कोशिका विभाजन के समय क्रोम एडिट के विसर्जन में होने होने वाली गड़बड़ी से संतति कोशिका में एक क्रोमोसोम की कमियां वृद्धि हो जाती है पुलिस टॉप इसके फलस्वरूप मनुष्य में जन्मजात रोग उत्पन्न हो जाते हैं। इसका मुख्य उदाहरण टर्नर सिंड्रोम डाउन सिंड्रोम फ्लाइंग फिल्टर सीड्रामा आदि है।

2. जैवविविधता को परिभाषित करें तथा इसके प्रकारों के नाम को लिखे।
उत्तर. जय विविधता शब्द का प्रयोग पृथ्वी पर पाए जाने वाले सभी पौधों जंतु तथा सूक्ष्म जीवों की विविधता के लिए किया जाता है। जय विविधता प्राणियों में पाए जाने वाले समस्त जीएसपीसी तथा परितंत्र को अपने में समाहित करता है। जैवविविधता तीन प्रकार की होती हैं। (1) अनुवांशिक विविधता (2) स्पीशीज विविधता तथा (3) पारिस्थितिक विविधता।
3. एग्रोबैक्टेरियम पर संक्षेप में एक टिप्पणी लिखें।
उत्तर. एग्रोबैक्टेरियम टियूमी फैंसी एस द्विबीजपत्री पौधों का एक रोगजनक पैथोजोन है। यह पौधों की जड़ों में ट्यूमर बनाता है। ट्यूमर बनाने की क्षमता बैक्टीरिया में स्थित है ti प्लाजीमड के कारण होती है। यह tiका प्लांट जब द्वीज पत्री पौधों की जड़ों के न्यू क्लियर जीनोम में प्रविष्ट कर जाता है तब सम्मान कोशिकाओं को ट्यूमर में रूपांतरित करता है। ti प्लाजिमड में t-dna होता है। यह t dna रूपांतरित कोशिकाओं में हार्मोन और अस्थिरता पैदा करती है। ti प्लाजीमड बिजतीय जीन के स्थानांतरण में संवाहक का कार्य करते हैं। एग्रोबैक्टेरियम को संवाहक के रूप में प्रयुक्त कर किटरोधी तथा हरबी साइड रोधी जिन को सफलतापूर्वक आर्थिक महत्व के पौधों जैसे- सूर्यमुखी तंबाकू आलू आदि में स्थानांतरित किया जाता है।
4. निम्नलिखित पर संक्षेप में टिप्पणी लिखें।
(a) पैलिनड्रोमस (b) क्लोनिंग संवाहक
उतर.(a) पैलिनड्रोमस: यह वर्णों के समूह है जिनके आगे एक पीछे दोनों तरफ से पढ़ने के लिए एक ही शब्द बनता है जैसे मंगलयालम। पैलीड्रॉम और DNA पैलीड्रॉम में अंतर होता है। पैलीड्रॉम मे उसी शब्द को दोनों ओर से पढ़ा जा सकता है, परंतु DNA ए पलिंड्रोम 41 युग मोका एक ऐसा अनुक्रम है जो पढ़ने के अभिविन्यास को सम्मान रखने पर दोनों लड़ियों में एक जैसे पढ़ा जाता है।
Vvi Subjective Question Biology
(b) क्लोनिंग संवाहक: प्लाजिमड गोलाकार गुणसूत्र ब्राहा DNA हाय जो स्वता है प्रकृति करता है। लाजिमड तथा जीवाणुभोजी का उपयोग फ्लोरिंग संवाहक के रूप में किया जाता है। प्लाजिमड तथा जीवाणुभोजी दोनों ही जीवाणु कोशिकाओं में बिना गुणसूत्र के DNA के स्वतंत्र रूप से प्रकृति करने की क्षमता रखते हैं। जीवाणु भोजी ओं की प्रत्येक कोशिका में बहुत अधिक संख्या होने के कारण जीवाणु कोशिका में इनके जीनोम की कई प्राकृतिक मिलती है। कुछ प्लाजिमड की प्रति कोशिका एक या दो प्राकृतिक होती है परंतु अन्य कोशिकाओं में इनकी संख्या 15 – 100 तक हो जाती है। यह संख्या और अधिक हो सकती है।
5. जलपुरा गन के बारे में उदाहरण सहित बताएं।
उत्तर. सक्षम परपोषी पुनर्योगज DNA के साथ रूपांतरण हेतु DNA जल परागण अनु है। यही कारण है कि यह कोशिका झिल्ली से होकर पार नहीं हो सकता है। बैक्टीरिया को प्लाजिमड आते हो लेने के लिए बातें करने से पूरे जीवाणु कोशिका को DNA लेने के लिए सक्षम बनाना होगा। इसके लिए कुछ का को दिसंयोजन धनायन के साथ संधारित किया जाता है इससे जीवाणु की कोशिका भित्ति में स्थित छिद्रों से प्रवेश करने में सहायता मिलती है। इस कार्य के लिए जीवाणु कोशिका को कैल्शियम की विशिष्ट सांद्रता के साथ संधारित किया जाता है।
6. निम्नाकित में से किन्हीं दो पर संक्षिप्त टिप्पणी लिखें।
(a) हाइड्रोकार्बन (b) अम्लीय वर्षा
उत्तर.(a) हाइड्रोकार्बन: कार्बन डाइऑक्साइड कार्बन मोनोऑक्साइड खेत्री कार्बनिक पदार्थ हाइड्रोकार्बन जैसे बैंजो पार्टी एथिलीन बेंजीन सटीक आदि का भी निर्माण इग्नू के दाने मोटर वाहनों से होता है जो जीवो के विभिन्न प्रकार से क्षति पहुंचाते हैं। अंगद हाइड्रोकार्बन से फेफड़े में कैंसर एथिलीन से समय के पहले पति आयोग कलियों का झड़ना आदि मुख्य प्रभाव है।
(b) अम्लीय वर्षा: विभिन्न औद्योगिक प्रतिष्ठानों स्वचालित वाहनों एवं विभिन्न विभिन्न प्रकार इन दिनों के जलने से वातावरण में सल्फर तथा नाइट्रोजन के ऑक्साइड से मुक्त होते रहते हैं। यह यह हवा में मौजूद जल से संयुक्त होकर सल्फ्यूरिक (H2 So4) एवं नाइट्रिक अम्ल (HNo3) बनाते हैं। वर्षा के जल के साथ ही अम्लीय वर्षा के रूप में पृथ्वी पर गिरते हैं। अम्लीय वर्षा में सल्फ्यूरिक अम्ल (H2 SO4) की मात्रा कि नाइट्रिक अम्ल (HNO3) की अपेक्षा अधिक होती है।
7. प्रतिरोधी पौधे पर संक्षिप्त टिप्पणी लिखें।
उत्तर. फसलों की कीटों के अतिरिक्त कवक तथा सूत्र क्रीमी से सबसे अधिक नुकसान होता है। सूत्र क्रीमी मिलवा डिजाइन इनको गणेश या तंबाकू की जड़ों को संक्रमित कर पैदावार को बहुत कम कर देता है। सूत्र क्रीमी के संक्रमण को रोकने के लिए औद्योगिक विधि का प्रयोग किया जा रहा है। यह RNA पर आधारित है। RNA अंतर यूकैरियोटिक जीवों में कुछ किए सुरक्षा की एक विधि है यदि इस बात पर आधारित है कि विशिष्ट दूत RNA पूरक दीसूत्री RNA सेव वर्धित होने के पश्चात निष्क्रिय हो जाता है। जिससे परिणाम स्वरूप दूत RNA के स्थान तरण को रोकता है।
4. लैंगिक तथा अलैंगिक जनन सोउदाहरण अंतर स्पष्ट करें।
उत्तर. अलैंगिक जनन: बैक्टीरिया कवक प्रोटोजोआ शैवाल तथा अनेक पौधे और जंतुओं में अलैंगिक जनन होता है। इस प्रकार के जनन में केवल एक ही जनक की आवश्यकता पड़ती है इस प्रकार से प्राप्त संतति को एकपुंजक या कालोंनकहते हैं।
लैंगिक जनन: लैंगिक जनन लगभग सभी जीव धारियों द्वारा प्रयोग किया जाता है परंतु उच्च वर्गीय पौधे तथा जंतुओं में यह जनन की एकमात्र विधि है। लैंगिक जनन में विपरीत लिंग वाले जीवो द्वारा नर तथा मादा योग बनाए जाते हैं। नर युग्मक तथा मादा युग्मक के संगलन से युग्मनज बनता है यह विकसित होकर नए जीव को जन्म देता है।
5. टाइफाइड बीमारी का रोज जनक, लक्षण, संक्रमण के विधाता उपचार के बारे में बताएं।
उत्तर. कारण: यह एक संक्रामक रोग है जोकि सालमोनेला टाईफाई नामक जीवाणु से उत्पन्न होता है। यह जीवाणु रोगी के मल मूत्र एवं रक्त में पाया जाता है यह जीवाणु घरेलू मक्खी द्वारा संक्रमण होता है।
लक्षण: (i) सिरदर्द, अमाशय दर्द भी होता है। (ii) मानसिक तनाव। (iii) बुखार, उत्पन्न होगा। (iv) भूख भी अरुचि हो जाता है।
नियंत्रण: यह रोग हो जाने पर उच्च प्रतिजैविक दवाओं का प्रयोग करना चाहिए।
रोकथाम: टीका का प्रयोग होना चाहिए।
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